बालोद डौंडी/ .बालोद जिले के आदिवासी बाहुल्य ब्लाक डौंडी जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता व घने जंगलों के लिए जाना जाता है….लेकिन इस सुंदरता के पीछे लोगो की ऐसी मूलभूत समस्या जो सरकार के विकास के दावों की पोल खोलती है….जी हां हम बात कर रहे है सूबे के महिला एवं बाल विकास मंत्री अनिला भेड़िया के विधानसभा क्षेत्र के चिखली पंचायत के आवास पारा का ….जहाँ पर विकास के नाम पर आज तक सिर्फ कागजो में ही काम हुआ …लेकिन जमीनी हकीकत इस आवास पारा में साफ नजर आती है..कच्ची सड़क, पानी की समस्या के अलावा इस मोहल्ले से लगे नाला जो बारिस के दिनों में।गांव को मुख्यधारा से अलग कर देती है
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पूरे मामले में स्थानीय लोगो कि माने तो गांव से लगे नाले पर पुल निर्माण की मांग उनके द्वारा पिछले कई वर्षों से किया जा रहा है….अपनी मांगों को लेकर सरपंच से लेकर मंत्री तक लगा चुके है गुहार..लेकिन आज तक इनकी समस्या का नही हुआ समाधान..ग्रामीण महिला उमा ने कहा बारिस के दिनों में इस नाले पर करीब 6- 8 फिट तक जल भराव हो जाता है…..जिससे गांव टापू में तब्दील हो जाता है…कई दिनों तक गांव के।लोग मुख्यधारा से कट जाते है…वही गांव के राजू व बुधारू ने बताया ग्रामीणो को रोजमर्रा के सामानों के लिए जद्दोजहद करनी पड़ती है…तो वही स्कूली बच्चों का स्कूल जाना बंद हो जाता है …यही नही इस बीच यदि गांव में किसी की तबियत बिगड़ जाए तो उन्हें स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध नही हो पाती.. गांव तक न एम्बुलेंस आती है ना ही चिकित्सा सुविधा पहुंच पाती है….जिसके चलते ग्रामीणो को बारिस के दिनों में काफी संघर्ष करना पड़ता है…वही मामले पर क्षेत्रीय विधायक व मंत्री कि माने तो इस गांव में पुलिया बनाने का प्रस्ताव भेज दिया गया है तथा जल्द ही प्रस्ताव स्वीकृत होने के बाद गांव में पुल निर्माण प्रारंभ होने की बात कहते नजर आए…
मंत्री के आश्वासन से ग्रामीणो की समस्या दूर होने के संकेत तो मिले है लेकिन वास्तव में इनकी समस्या का समाधान कब तक हो पायेगा फिलहाल यह तय नही हुआ है….बहरहाल देखना होगा ग्रामीणो को अपनी इस समस्या से कब तक निजात मिल पाता है