बालोद। दस्तावेज लेखक और स्टाम्प विक्रेता संघ आज से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर है। जिसकी जानकारी वित्त मंत्री को अवगत कराते हुए संघ ने मांग पत्र में लिखा, प्रदेश भर के पंजीयन कार्यालय में वर्षों से अवैतनिक सेवा देने वाले दस्तावेज लेखक एंव स्टाम्प विक्रेता के द्वारा अपनी कुछ जायज मांगो के पुरा किये जाने के लिये शासन का ध्यान आकृष्ट करने बाबत विभिन्न चरणों में अपना मांग पत्र सौपा गया है, परन्तु उक्त मांगों पर कभी भी विचार नही किया गया जिसके कारण दस्तावेज लेखकों और स्टाम्प विक्रेता द्वारा अपने प्रदेश संघ के माध्यम से एक दिवसीय कलम बंद हड़ताल किये तत्पश्चात एक सप्ताह काली पटटी लगाकर विरोध स्वरूप कार्य किये एंव 18.19,20 सितम्बर को तीन दिवसीय हडताल पर जाने का निर्णय लिया जाकर पुनः ज्ञापन दिया गया था। जिस पर महानिरीक्षक पंजीयन द्वारा हमारे संघ के प्रतिनिधी मंडल को सम्मान पूर्वक वार्ता के लिये आमंत्रित किया था और हमारी समस्यो को 15 दिवस के अंदर पूरा किये जाने का आश्वासन दिया गया था परन्तु एक माह बीत जाने पर भी हमे अवगत नही कराया जबकि जानकारी के लिये हमने 10 अक्टूबर 2024 को पत्र लिखा जिसका कोई जवाब नही आया एंव इस बीच नये नये योजनाओं (आई टी साल्युशन, एन जी डी आर एस. ई – स्टाम्प ) को लागू कर हमे करने को दिया गया है। हम अब तक बहुत ही सहजता से सभी योजनाओं व प्रक्रियाओं को स्वीकार कर पालन किया परन्तु हमारी समस्याओं पर किसी ने ध्यान नही दिया इस बीच एक नई योजना (सुगम एप) को आपके द्वारा लागु कर दिया गया है जो एक पारदर्शिता के नाम पर आम व्यक्ति के द्वारा घर बैठे रजिस्टी करा सकने का प्रचार किया जा रहा है जो एक प्रकार से दस्तावेज लेखकों और स्टाम्प विक्रेताओं को बेरोजगार करने का उपक्रम प्रतीत हो रहा है। इसलिये अब हम शासन से अपनी आजीविका की सुरक्षा की गारंटी के साथ पूर्व में दिये गये ज्ञापन में दर्शित विभिन्न मांग के साथ समस्त दस्तावेज लेखकों एंव स्टाम्प विक्रेताओं को पंजीयन विभाग में समायोजित किये जाने की मांग करते हुये आज से अनिश्चित कालीन हड़ताल पर जाने के लिये बाध्य है।
हड़ताल लंबे समय तक चली तो आम जनता के रजिस्ट्री संबंधित कार्यों में भी उत्पन्न होगी बाधा
अगर सरकार जल्द ही कोई ठोस कदम नहीं उठाती, तो यह अनिश्चितकालीन हड़ताल लंबे समय तक चल सकती है, जिससे न केवल उनके जीवन पर असर पड़ेगा, बल्कि आम जनता के रजिस्ट्री संबंधित कार्यों में भी बाधा उत्पन्न होगी।इस हड़ताल का सीधा असर आम जनता पर पड़ रहा है, जो रजिस्ट्री जैसे आवश्यक कार्यों के लिए कार्यालयों में भटक रहे हैं। जमीन और मकान रजिस्ट्री कराने आए लोगों को पंजीयन कार्यालयों में दस्तावेज़ लेखकों की गैरमौजूदगी के कारण परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।अगर यह हड़ताल लंबी चलती है, तो इससे ना केवल इन पेशेवरों की आजीविका प्रभावित होगी, बल्कि समाज में दस्तावेज़ संबंधित कार्यों में भी भारी रुकावट आ सकती है। अनिश्चित कालीन हड़ताल में लक्ष्मी नारायण दुबे, शिवकुमार गौतम,भूपेंद्र कुमार चंद्राकर जनक चंद्राकर, गोल्डी गौतम, योगेश साहु, संजय पटेल, सोमेश साहु, मिथलेश, अनिल सहित दस्तावेज लेखक संघ के सभी सदस्य उपस्थित रहे।