बालोद-दिवाली के त्योहार में अपनी जेब हल्की करके बैठे लोगों को बिजली कंपनी बिल में अतिरिक्त सुरक्षा निधि जोड़कर झटका दे रही है। अतिरिक्त सुरक्षा निधि जुड़ने से उपभोक्ताओं का बिल हर माह की अपेक्षा औसत ज्यादा आया है।लोगों की शिकायत है कि उन्हें महीने के औसत से तीन गुना तक बिजली बिल दिया गया है। लेकिन लोगों को बढ़े हुए बिल से राहत इसलिए नहीं मिल पा रही है, क्योंकि इस महीने के बिजली बिल में सुरक्षा निधि के नाम पर भारी भरकम राशि जोड़ी गई है।बिजली महकमे ने नियम बनाया है कि यह रकम दो महीने के औसत बिल के बराबर है, इसलिए बिल तीन गुना लग रहा है।
बिजली बिल सुधरवाने कार्यलय पहुच रहे उपभोक्ता
अपनी बिल सुधरवाने के लिए उपभोक्ता कार्यालय पहुंच रहे हैं, तो उन्होंने नियम बताकर कंपनी के अधिकारी बिल भरने का निर्देश जारी कर रहे हैं। उपभोक्ताओं का कहना है कि बिल आने पर भुगतान कर रहे हैं, तो अतिरिक्त सुरक्षा निधि क्यों जोड़ा जा रहा है? उपभोक्ताओं के इन सवालों पर अधिकारियों का कहना है कि औसत बिल को देखकर भविष्य में उपभोक्ता को बिजली उपलब्ध कराने के लिए अतिरिक्त सुरक्षा निधि का चार्ज लगाया जाता है। उपभोक्ता के औसत बिल के हिसाब से अतिरिक्त सुरक्षा निधि साल में एक से दो बार तक कंपनी चार्ज करती है।
इस महीने का बिजली बिल तीन महीने के बराबर आया है। इससे बड़ा वर्ग हो गया बेचैन
सुरक्षा निधि के तौर पर दो महीने का औसत बिल और एक माह का वास्तविक बिल, यानी इस महीने का बिजली बिल तीन महीने के बराबर आया है। इससे बड़ा वर्ग बेचैन हो गया है। जिन घरों में ढाई से तीन हजार रुपए का औसत बिल आता है, उनके यहां सुरक्षा निधि को मिलाकर 10 से 12 हजार रुपए तक का बिल पहुंचा है।लोगों का तर्क है कि हर जगह केवल एक बार सुरक्षा निधि ली जाती है, लेकिन बिजली कंपनी हर साल जनवरी के बिल में इस मद में दो महीने का अतिरिक्त बिल क्यों जोड़ रही है?शिकायत केंद्रों में बैठा कंपनी का हर अफसर, इंजीनियर और क्लर्क रोजाना ही इस सवाल से जूझ रहा है।उनका अंत में जवाब यही रहता है कि जब कनेक्शन कटेगा, पूरी सुरक्षा निधि लौटाई जाएगी। लेकिन हर उपभोक्ता इस जवाब के बाद यही पूछता है कि आखिर वह कनेक्शन कटवाएगा क्यों?
विभाग द्वारा सुरक्षा निधि के नाम पर उपभोक्ताओं को थमाया भारी भरकम बिल
ग्रामीण इलाकों में भी बिजली बिल की राशि देखकर लोग काफी परेशान नजर आ रहे हैं। जिन घरों में 200 से 300 रुपए के बीच बिजली बिल पहुंचता था, वहां बीते कुछ महीनों से एक हजार रुपए से अधिक बिजली बिल थमाया जा रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों में एक हजार से लेकर 3 हजार रुपए तक भी बिजली बिल पहुंच रहा है। शुक्रवार को बिजली विभाग में बिल का भुगतान करने पहुंचे ग्राम बधमरा,ओरमा व अन्य गांवों के ग्रामीणों ने बताया कि घर के सभी सदस्य दिनभर खेत में किसानी कार्य करने चलते जाते हैं। शाम होने के बाद घर लौटते हैं और रात तक 10 बजे तक सो जाते हैं। उसके बाद भी महीने के बिजली बिल एक हजार रुपए से अधिक आया है।अधिक बिजली बिल आने से उपभोक्ता परेशान हो गए है।