*पेंशन बहाली के फैसले से कर्मचारियों के जीवन में आएगा बड़ा बदलाव: मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल*
*सरकार के संवदेनशील फैसले के लिए मुख्यमंत्री के प्रति आभार व्यक्त किया*
रायपुर, मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा कि एक फैसले से जीवन किस तरह बदलता है, वह मुझे पुरानी पेंशन बहाली की घोषणा से देखने को मिल रहा है। पुरानी पेंशन बहाली से एक ओर जहां सेवानिवृत्ति के बाद शासकीय अधिकारियों-कर्मचारियों का जीवन बिना किसी चिंता के बीतेगा, वहीं उनके परिवार को भी आर्थिक सम्बल मिलेगा। श्री बघेल ने कहा कि पुरानी पेंशन बहाली से कर्मचारियों के बुढ़ापे की चिंता दूर हुई है। हमारी सरकार प्रदेश के हर वर्ग के उत्तरोत्तर विकास के लिए निरंतर काम कर रही है। मुख्यमंत्री श्री बघेल आज यहां राजधानी रायपुर के सरदार बलबीर सिंह जुनेजा इंडोर स्टेडियम में शिक्षक संवर्ग एवं पंचायत सचिव संघों के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित सम्मान समारोह को सम्बोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर पंचायत सचिवों के नियमितीकरण संबंधी मांग पर मुख्य सचिव स्तर पर कमेटी बनाने की घोषणा भी की।
शिक्षक संवर्ग एवं पंचायत सचिव के 12 संघों ने पुरानी पेंशन योजना को बहाल किए जाने पर आज इंडोर स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल का सम्मान किया। प्रदेशभर से हजारों की संख्या में जुटे शिक्षकों और पंचायत सचिवों ने इस संवदेनशील फैसले के लिए मुख्यमंत्री के प्रति अपनी कृतज्ञता प्रकट की।
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा कि शिक्षकों के आंदोलनों में हमेशा मैं साथ रहा हूं। कर्मचारियों के हित में जो भी संभव हो सकेगा, हमारी सरकार इसके लिए सदैव तत्पर है। उन्होंने कहा कि 1998 के बाद पहली बार राज्य में लगभग 15 हजार शिक्षकों की नियमित नियुक्ति हुई है। अब शिक्षकों को भविष्य में संविदा कर्मी या शिक्षाकर्मी नहीं कहलाना पड़ेगा। शिक्षकों को भी पूरा सम्मान मिलेगा।
श्री बघेल ने कहा कि कोरोना संक्रमण काल में भी अपने जीवन की परवाह किए बिना लोगों की जान बचाने के लिए अधिकारियों-कर्मचारियों सहित शिक्षकों, पंचायत सचिवों, पुलिस के जवानों, सफाई कर्मचारियों और स्वास्थ्य कर्मचारियों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उन्होंने कोरोना काल में सहयोग के लिए अधिकारियों-कर्मचारियों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि आगे भी हम सबको मिल-जुल कर राज्य की प्रगति के लिए तत्परता से काम करने की जरूरत है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हर व्यक्ति चाहता है कि उसके बच्चे अंग्रेजी माध्यम और उत्कृष्ट स्कूलों में पढ़ाई करें। सरकार ने गरीबों, वंचितों, निम्न आय वर्गाें की पीड़ा को समझा और प्रदेश में 172 स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम के स्कूल खोलने का काम किया। सरकार ने अब 32 उत्कृष्ट हिन्दी माध्यम के स्कूल खोलने का भी निर्णय लिया है।
मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कहा कि सरकार बनते ही हमने सर्वप्रथम किसानों की चिंता दूर करते हुए कर्जमाफी का काम किया। किसानों के उत्पाद को उचित मूल्य दिलाने के लिए समर्थन मूल्य के साथ-साथ इनपुट सब्सिडी के रूप में उन्हें न्याय दिलाने का भी काम किया है। उन्होंने छत्तीसगढ़ के चार चिन्हारी नरवा, गरूवा, घुरवा, बाड़ी के फायदों के संबंध में भी विस्तार से जानकारी दी। श्री बघेल ने कहा कि राज्य में गरीबों से लेकर अमीरों तक सबका राशन कार्ड बनाया गया है। सभी परिवारों को हर माह 35 किलो चावल की पात्रता दी गई है। कोरोना काल में हमने गरीबों व वंचितों को 11 माह निःशुल्क चावल देने का काम किया है।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए संसदीय सचिव श्री चंद्रदेव राय ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार अन्नदाता किसानों, कर्मचारियों, गरीबों, अदिवासियों, श्रमिकों और सर्वहारा वर्ग के हित में लगातार फैसले ले रही है। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में शासन ने शिक्षा जगत का काला अध्याय खत्म करते हुए 1995 में डाइंग कैडर घोषित शिक्षकों के पद पर नई भर्ती की शुरूआत की है। शिक्षा कर्मियों के संविलियन के बाद अब उन्हें पुरानी पेंशन योजना का लाभ देने जा रही है। सरकार के इस फैसले ने प्रदेश के शिक्षकों व अन्य कर्मचारियों तथा उनके परिजनों के चेहरे की चमक बढ़ा दी है।