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विवादित युक्तियुक्तकरण प्रक्रिया हुई स्थगित,शिक्षक संघ ने विष्णुदेव साय सरकार के निर्णय का किया स्वागत

शिक्षा सचिव के साथ शिक्षक संगठनों की हुई बैठक में युक्तियुक्तकरण के निर्देशों का हुआ था कड़ा विरोध और 9 सितंबर को प्रांतव्यापी आंदोलन की थी तैयारी

छग शिक्षक संघर्ष मोर्चा के जिला संचालक जितेंद्र शर्मा ने बताया कि प्रदेश में युक्तियुक्तकरण की जो विवादित प्रक्रिया चल रही थी उसे अब मुख्यमंत्री के निर्देश पर शिक्षा विभाग ने स्थगित कर दिया है, जिसका हम स्वागत करते हैं और उम्मीद करते हैं कि भविष्य में भी इस तरह की 2008 विभागीय सेटअप से छेड़छाड़ कर शिक्षा व्यवस्था को चरमराने वाली कोई भी नीति विभाग द्वारा नही लाई जाएगी।

उल्लेखनीय है कि शिक्षा सचिव सिद्धार्थ कोमल परदेशी के द्वारा आहूत बैठक में छग शिक्षक संघर्ष मोर्चा के सभी प्रान्त संचालक वीरेंद्र दुबे,संजय शर्मा, मनीष मिश्रा, विकास राजपूत, तथा प्रांतीय उपसंचालक धर्मेश शर्मा,चन्द्रशेखर तिवारी,जितेंद्र शर्मा,अब्दुल आसिफ खान आदि सम्मलित रहे और समवेत स्वर में युक्तियुक्तकरण के जारी निर्देशों का कड़ा विरोध कर तत्काल इसे स्थगित करने की मांग की थी।

*युक्तियुक्तकरण प्रक्रिया में क्या है विवाद ?*
*उत्तर- जिला संचालक जितेंद्र शर्मा ने बताया कि प्रदेश के सभी स्कूलों में 2008 का विभागीय सेटअप लागू है जिसके तहत ही भर्ती,पदोन्नति दी जाती है, इस सेटअप में प्राथमिक शाला में अधिकतम 40 की दर्ज संख्या तक 1 प्रधान पाठक और 2 सहायक शिक्षक होता है जबकि युक्तियुक्तकरण के जारी निर्देश में इस सेटअप से छेड़छाड़ कर अधिकतम 60 की संख्या में 1 प्रधानपाठक और 1 सहायक शिक्षक का सेटअप बना बाकि अन्य को अतिशेष मान कर उस स्कूल से निकाल रहे थे,जबकि पहली से पांचवी तक पांच कक्षा होती है,ऊपर से बालवाड़ी में भी जाकर पढ़ाना है,फिर मध्यान्ह भोजन, विभिन्न सर्वे, चुनाव, जनगणना, मतदाता पुनरीक्षण जैसे गैर शैक्षणिक कार्य भी इन सहायक शिक्षकों से लिये जाते हैं।
इसी तरह मिडिल में 1 प्रधान पाठक और 4 शिक्षक का सेटअप है जिसे कम कर 1 प्रधान पाठक और 3 शिक्षक किया जा रहा था, हायर सेकेंडरी स्कूलों में 1 प्राचार्य और 11 व्याख्याता का सेटअप होता है पर युक्तियुक्तकरण के चलते 1 प्राचार्य और 9 व्याख्याता किया जा रहा था जो कि सरासर गलत था और शासकीय स्कूलों की शिक्षा गुणवत्ता को नष्ट कर प्राइवेट स्कूलों को बढ़ावा देने वाला था। शिक्षक संघर्ष मोर्चा को इसी से आपत्ति थी।

छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा ने इस प्रक्रिया का विरोध करते हुए चरणबद्ध आंदोलन की शुरुआत कर दी थी। जिसमे मुख्यमंत्री, शिक्षा सचिव,और  DPI संचालक के नाम कलेक्टर,जिलाशिक्षाधिकारी को ज्ञापन दिया गया था।  दूसरे चरण में पूर्व मुख्यमंत्री व विधानसभा अध्यक्ष डा रमन सिंह,उपमुख्यमंत्री अरुण साव सहित सभी मंत्री,सांसद और विधायकों को ज्ञापन सौंपकर युक्तियुक्तकरण के जारी निर्देशो से होने वाले नुकसान के बारे में अवगत कराया था। इसी सिलसिले में शिक्षक संघर्ष मोर्चा द्वारा उपमुख्यमंत्री व गृहमंत्री विजय शर्मा से मुलाकात कर मामले में हस्तक्षेप करने का आग्रह किया गया था, तो उन्होंने शिक्षा सचिव को तत्काल फोन लगाकर मोर्चा के साथ बैठकर समाधान निकालने का निर्देश दिया था इसी परिपेक्ष में कल मंत्रालय में शिक्षक संगठनों की बैठक सम्पन्न हुई जिसका परिणाम आज निकल कर सामने आया कि विभाग ने फिलहाल युक्तियुक्तकरण को स्थगित कर दिया है।

जिला के शिक्षक मोर्चा संचालक जितेंद्र शर्मा,दिलीप साहू,देवेंद्र हरमुख, वेदप्रकाश साहू तथा सभी ब्लाक संचालको व समस्त शिक्षकों ने इस निर्णय हेतु छग शासन का स्वागत किया है और उम्मीद जताई है कि भविष्य में भी इस तरह के अव्यवहारिक निर्णयों से विभाग को दूर रखेगी।

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