शिक्षा/वित्त विभाग को राज्य व जिला/ब्लाक स्तर पर कार्यशाला का आयोजन कर आशंकाओं को करना चाहिए दूर। कार्यालय प्रमुख शपथ पत्र जल्दी भरने न बनाएँ दबाव
बालोद- अपने बुढापे की सहारा हेतु NPS और OPS में किसका चयन करें? आज यह प्रश्न प्रदेश के समस्त संविलियन प्राप्त शिक्षकों के समक्ष मुंह बाये खड़ा है। पुरानी पेंशन की घोषणा होने से प्रदेश के शिक्षक जिस खुशी का अनुभव कर रहे थे वह अब राजपत्र पत्र में जारी नियमावली को पढ़ने से काफूर हो गई है। जारी नियम व शर्तें इनके समक्ष कई आशंकाओं को जन्म दे रही है!शिक्षाकर्मी के रूप में प्रथम नियुक्ति तिथि से पेंशन की गणना का ठोस प्रावधान होना आवश्यक है । इसके अभाव में समस्त संविलियन शिक्षक समुदाय उलझन का शिकार है कि उसके लिए अब NPS सही रहेगा या फिर OPS…..?
छ्ग शालेय शिक्षक संघ जिला बालोद के जिलाध्यक्ष जितेंद्र शर्मा ने बताया कि प्रांताध्यक्ष वीरेंद्र दुबे के नेतृत्व में सचिव वित्त और संचालक पेंशन को एक पत्र लिखकर मांग की है कि सबसे पहले तो NPS/OPS की सहमति/असहमति शपथपत्र भरने की मियाद को मार्च 2023 तक बढाया जाना चाहिए। यह एक कर्मचारी के भविष्य का संवेदनशील मामला है,जिसका जल्दबाजी में निर्णय नही लिया जा सकता। मन मे उठने वाली समस्त उलझनों और आशंकाओं का समाधान होना आवश्यक है,इसके लिए जरूरी है कि विभाग पहले राज्य,जिला व ब्लाक स्तर पर कार्यशालाओं का आयोजन करे और समस्त भ्रम का निराकरण करे।अतः विभिन्न जगहों पर कई ट्रेजरी व DDO के द्वारा जो जल्दबाजी करते हुए 20 या 24 फरवरी तक शपथपत्र भरने का जो दबाव बनाया जा रहा है उसे रोका जावे और इसके लिए आगे और 1माह का समय दिया जावे।
शालेय शिक्षक संघ के प्रदेश महासचिव धर्मेश शर्मा व प्रदेश मीडिया प्रभारी जितेंद्र शर्मा ने प्रदेश के समस्त शिक्षकों से अपील किया है कि इस शपथपत्र को भरने के लिए कोई हड़बड़ी न दिखायें, सोचसमझकर ही इसे भरना होगा,क्योंकि विकल्प चयन अपरिवर्तनीय है। संगठन शासन से NPS/OPS को लेकर जो भ्रम की स्थिति बन रही है उसके लिए विभाग से कार्यशाला आयोजित करने की मांग कर रही है। उम्मीद है शासन इस मांग पर ठोस पहल करेगा।
शपथपत्र की मियाद मार्च 2023 तक बढाने तथा कार्यशालाओं के आयोजन की मांग करने वालो में छत्तीसगढ़ शालेय शिक्षक संघ के समस्त प्रान्त,जिला,ब्लाक पदाधिकारियों व प्रदेश के समस्त संविलियन प्राप्त शिक्षकों ने की है।